Pakistan News in hindi: इंस्टीट्यूट ऑफ बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन में CPEC शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए CPEC मामलों पर प्रधानमंत्री इमरान खान के विशेष सहायक ने भारत और अमेरिका पर बड़ा आरोप लगाया है। China-Pakistan Economic Corridor Authority के प्रमुख खालिद मंसूर ने चीन पाकिस्तान के अरबों डॉलर की परियोजना के खिलाफ साजिश के आरोप में अमेरिका और भारत पर निशाना साधा। उन्होंने आरोप लगाया की भारत-अमेरिका मिलकर चीन के CPEC को बर्बाद करना चाहते हैं।
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China-Pakistan Economic Corridor Authority के प्रमुख खालिद मंसूर ने कहा कि अमेरिका और भारत चीन के बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव से पाकिस्तान को बाहर करना चाहते हैं। CPEC मामलों पर प्रधानमंत्री इमरान खान के विशेष सहायक मंसूर ने कहा कि पाकिस्तान कहीं भी अपने लाभ के साथ समझौता नहीं करेगा। उन्होंने कहा की बीते सालों में पश्चिमी गठबंधनों से कई बार धोखा मिल चुका है लेकिन इस बार इस क्षेत्र में चीन के रणनीतिक प्रभाव को कम करने के उनके प्रयास विफल हो जाएंगे।
आपको बता दें की पश्चिमी देश China-Pakistan Economic Corridor Authority को चीन की राजनीतिक महत्वाकांक्षा के प्रतीक के रूप में देखते हैं। इसलिए अमेरिका अब इस क्षेत्र से हटने के ‘आर्थिक और राजनीतिक नतीजों का जायजा ले रहा है। इस प्रोजेक्ट पर भारत पहले ही अपनी नाराजगी जाहिर कर चूका है। और अब अमेरिका भी अपने फायदे के लिए ही सही पर भारत के साथ खड़ा होता हुआ नजर आ रहा है।
चीन पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) क्या है?
चीन पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) चीन का महत्वकांक्षी प्रोजेक्ट है। CPEC पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर और अक्साई चीन जैसे विवादित इलाको से होकर गुजरता है जिसपर भारत लगातार अपना दवा करता रहा है। भारत के इस इस प्रोजेक्ट के विरोध करने का कारण है पाक अधिकृत कश्मीर है जहा से यह प्रोजेक्ट गुजरता है।
CPEC मुख्य तौर पर एक इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट है जिसमे हाइवे और पाइप लाइन शामिल है। यह प्रोजेक्ट चीन के काशगर प्रांत को पाकिस्तान के ग्वारदर पोर्ट से जोड़ेगा। इस प्रोजेक्ट के तहत चीन पाकिस्तान में बंदरगाह, हाइवे, मोटरवे, रेलवे, एयरपोर्ट और पावर प्लांट्स के साथ दूसरे इंफ्रस्क्ट्रक्चर प्रोजेक्ट को डेवलप करेगा।
पाकिस्तान का CPEC को लेकर भारत-अमेरिका पर बड़ा आरोप!
पाकिस्तान ने चीन पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर(CPEC) को लेकर भारत और अमेरिका पर बड़ा आरोप लगाया है(Pakistan News in hindi)। उसने कहा की भारत-अमेरिका मिलकर चीन और पाकिस्तान के CPEC प्रोजेक्ट को बर्बाद करना चाहते हैं। मंसूर ने कहा कि उभरती हुई भू-रणनीतिक स्थिति के दृष्टिकोण से स्पष्ट है कि भारत समर्थित अमेरिका सीपीईसी का विरोधी है।
इंस्टीट्यूट ऑफ बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन में CPEC शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए CPEC मामलों पर प्रधानमंत्री इमरान खान के विशेष सहायक मंसूर ने खा की भारत और अमेरिका इसे सफल नहीं होने देना चाहता है। हमें इसके लिए तैयारी करनी होगी। आपको बता कि सीपीईसी को बनाने में चीन भारी निवेश कर रहा है और सीपीईसी की कुल लागत 46 अरब डॉलर (करीब 31 लाख करोड़ रुपए) है। चीन द्वारा सीपीईसी के साथ पाकिस्तान के इंफ्रास्ट्रक्चर में भी भारी निवेश किया जा रहा है।