थोड़ा कर्ज लेकर बनाई 35000 करोड़ की कंपनी 

कभी कर्ज लेकर बनाई कंपनी और आज 35000 करोड़ के मालिक हैं वेदांता ग्रुप के अनिल अग्रवाल! 

प्रसिद्ध उद्योगपति एवं वेदांता ग्रुप (Vedanta Group) के चेयरमैन अनिल अग्रवाल (Anil Agarwal) सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहते हैं। 

Anil Agarwal अक्सर Twitter पर अपने पुराने दिनों की कहानी लोगों के साथ साझा करते हैं और बताते हैं कि किस तरह से उन्होंने एक-एक कदम बढ़ाते हुए ऊचांइयां हासिल की। 

भारत के सबसे सफल उद्योगपतियों में से एक अनिल अग्रवाल की कहानी को लोग खूब पसंद भी करते हैं। हाल ही में इसी तरह के एक पोस्ट में उन्होंने पहली कंपनी खरीदने की कहानी साझा की है। 

अनिल अग्रवाल की कहानी 

आज हम जानेंगे प्रसिद्ध उद्योगपति एवं वेदांता ग्रुप के चेयरमैन अनिल अग्रवाल की प्रेरणादायक कहानी। 

वेदांत चेयरमैन ने आगे बताया कि कैसे वे कंपनी खरीदने के लिए कर्ज लेकर पैसे जुटाए। क्योकि अपने शुरुआती समय में उनके पास पैसे नहीं थे। 

उन्होंने कहा, 'मैंने लोन के जरिए रकम का प्रबंध किया। इनमें से 6 लाख रुपये अपने सोर्सेज से जुटाए। 5 लाख रुपये घरवालों से लिए और मेटल ब्रोकर रसिक भाई ने बाकी के 5 लाख रुपये दिए। 

1976 में कंपनी खरीदने के कागज पर साइन करते समय उनकी आंखों में खुशी के आंसू थे। हालांकि उन्हें तब भी नहीं पता था कि इसके साथ ही एक शानदार रॉलरकोस्टर जर्नी शुरू हो रही है। 

Forbes के अनुसार, वेदांता चेयरमैन अनिल अग्रवाल का कुल नेटवर्थ 440 करोड़ डॉलर यानी करीब 35 हजार करोड़ रुपये है।  अग्रवाल अभी लंदन में रहते हैं। 

उनके पास भारत की भी नागरिकता है और वह देश के 63वें सबसे रईस व्यक्ति हैं। उन्होंने प्राइवेटाइज हो रही सरकारी कंपनियों में हिस्सा खरीदने के लिए अलग से 10 बिलियन डॉलर का फंड तैयार किया है।

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